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दसलक्षण पर्व को दसलक्षण पर्व ही बोलें


दिलीप जैन शिवपुरी

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दसलक्षण पर्व को दसलक्षण पर्व ही बोलें*

आज मैं आप सभी का ध्यान एक बात की ओर आकर्षित करना चाहता हूं। 
      हम सब लोग हमारे *दसलक्षण पर्व* को *पर्युषण* बोलते हैं, और *पर्यूषण* के नाम से ही जानते हैं। इतना ही नहीं हमारे *दिगंबर जैन समाज के अधिकांश लोग इसे पर्यूषण ही कहते हैं,* जबकि वास्तविकता यह है कि *पर्यूषण श्वेतांबर परम्परा में कहा जाता है, जो 8 दिन के होते हैं। जबकि दिगम्बर परम्परा में दसलक्षण पर्व 10 दिन के होते हैं।* और खास बात यह होती है, कि *जिस दिन हमारे दसलक्षण पर्व प्रारम्भ होते हैं, उस दिन पर्युषण पर्व समाप्त होते हैं।*

     *हमारे दिगंबर परम्परा में  दसलक्षण पर्व, 10 धर्मो पर आधिरत होते हैं।* इन दस धर्म में *उत्तम क्षमा, उत्तम मार्दव, उत्तम आर्जव, उत्तम शौच,  उत्तम सत्य, उत्तम संयम, उत्तम तप, उत्तम त्याग, उत्तम अकिंचन और उत्तम ब्रह्मचर्य होते हैं।* चूंकि हम प्रत्येक दिन एक धर्म की आराधना करते हुए उसे अपने जीवन में अंगीकार करते हैं, और साधना को निरंतर बढ़ाते चले जाते हैं, तो इन्हीं दस धर्मों के कारण इन्हें *दसलक्षण महापर्व* कहा गया है।
      तो कृपया निवेदन है कि हम इन्हें दसलक्षण पर्व के नाम से ही संबोधित  करें। 

सादर
*दिलीप जैन शिवपुरी*

 🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻

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भादों माह की शुक्ल पक्ष में ऋषि पंचमी से प्रारंभ होकर अनंत चतुर्दशीको समापन होता है 10 लक्षण पर्व का आराधनाका यह पर्व 10 दिनों तक मनाया जाता है 

प्रथम दिन हैउत्तम क्षमा का क्षमा धारण करनेसे मैत्री भावजागृत होताहै 

द्वितीय दिनहै उत्तम मार्दव का मर्दव को धारण करने से अहंकार का नाश होता है विश्वास व नम्रता आती है

तृतीय दिन आता है उत्तम आर्जवधर्म  का आरजव धर्म से मन एवं जीवन  राग द्वेष से मुक्त होकर निष्कपट्ट हो जाता है

चतुर्थ दिवस है उत्तम सत्य धर्मका मन वचन और कर्म से सत्य को अपनाना और संसार सागर सेमुक्ति पाना

पांचवा दिन आताहै उत्तमशौच धर्म का यह धर्म संतोष धारण कर लोभ व लालच काज्ञान करता है लोभ नहीं करना चाहिए

छठ वा दिन आता है उत्तम संयम का संयम धारण करने वाले मानव का जीवन सार्थक तथा सफल होता है

सातवां दिन उत्तम तप 12 प्रकार के ताप होते हैं जन्म जन्मांतर के पाप वकर्म की निर्जरा होती है

आठवां दिन होताहै उत्तम त्याग का शांति और संतोष का भाव ही त्याग है 

नवा दिन होता है उत्तम आकिंचन्य का 24 प्रकार के परिग्रह का त्यागही उत्तम  आकिंचन केद्वारा परम समाधि मोक्ष काद्वार खुला जाता है

सबसे महत्वपूर्ण दिन अंतिम दिन उत्तम ब्रह्मचर्य धर्म का रिद्धि सिद्धि और मोक्षका खजाना हैउत्तम ब्रह्मचर्य धर्म

10 लक्षण महापर्व महावीर स्वामी के मूलसिद्धांत अहिंसा परमो धर्म जियो और जीनेदो की राह पर चलना सिखाता है एवं मोक्ष प्राप्ति का द्वारखोलता है आत्मा केद्वारा आत्मा को देखो 10 लक्षण पर्व हमारे विभिन्न धार्मिक क्रिया द्वारा आत्म शुद्धि और जन्म मरण के चक्रसे मुक्ति पाने की आराधना है

🙏🏻जय जिनेन्द्र 🙏🏻 उत्तम क्षमा 🙏🏻

🙏🏻10 लक्षण महापर्व की जय हो 🙏🏻

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